महर्षि मेंहीं पदावली / 80
प्रभु प्रेमियों ! संतवाणी अर्थ सहित में आज हम लोग जानेंगे- संतमत सत्संग के महान प्रचारक सद्गुरु महर्षि मेंहीं परमहंस जी महाराज के भारती (हिंदी) पुस्तक "महर्षि मेंहीं पदावली" जो हम संतमतानुयाइयों के लिए गुरु-गीता के समान अनमोल कृति है। इस कृति के 80वां पद्य "जय जय रामा जय जय राम कहु राम...' का शब्दार्थ, भावार्थ और टिप्पणी के बारे में। जिसे पूज्यपाद लालदास जी महाराज नेे किया है।
इस Santmat meditations भजन (कविता, पद्य, वाणी, छंद) "सतनाम सतनाम सतनाम भज सतनाम।..." में बताया गया है कि- राम नाम की महिमा रामायण में, दोहावली में गो. तुलसीदासजी ने बहुत ही लिखा है। अतः यह जिज्ञासा होती है कि राम नाम कैसे लेना चाहिए? उसका क्या रहस्य है? जिससे सभी मनोकामना पूर्ण होती है। राम नाम कैसे जपना चाहिए? इसकी क्या क्या महिमा है? इसके साथ ही निम्नलिखित प्रश्नों के भी कुछ-न-कुछ जानकारी दी गई है- राम नाम की महिमा का वर्णन,राम नाम की महिमा सुनाओ,राम नाम का चमत्कार,महिमा राम नाम की भजन,राम नाम रहस्य,राम नाम का महत्व,राम नाम फल,ram naam bhajan.
इस पद्य के पहले वाले पद्य को पढ़ने के लिए
यहां दबाएं।
राम नाम के रहस्य को समझाते हुए गुरुदेव
Ram name mystical significance "जय जय रामा....
सद्गुरु महर्षि मेंहीं परमहंस जी महाराज जी कहते हैं- "हे प्यारे भाइयों ! बारंबार 'जय जय राम !' अथवा 'राम राम !' कहा करो अर्थात बारंबार राम (सर्वव्यापी परमात्मा) का गुणगान किया करो।....." इस विषय में पूरी जानकारी के लिए इस भजन का शब्दार्थ, भावार्थ और टिप्पणी किया गया है। उसे पढ़ें-
पदावली भजन 80 और शब्दार्थ। राम नाम का वर्णन
पदावली भजन 80 का भावार्थ और टिप्पणी। राम नाम रहस्य वर्णन।
इस भजन के बाद वाले पद्य को पढ़ने के लिए यहां दबाएं।
महत्वपूर्ण नोट-
* भगवान श्री राम का नाम अपने आप में एक नाम भी है और एक मंत्र भी । भगवान श्री राम (Ram Naam ki Mahima) की आराधना करने वाले भक्त के सभी कार्य स्वयं ही सिद्ध हो जाता है।
* प्रभु से जुड़ने के अनेक माध्यम हमारे सद्ग्रंथो, ऋषि मुनियों एवं संतो द्वारा बताये गये है, उनमे से एक है हरि नाम(ram nam) जप और नाम लेखन । राम','कृष्ण','शिव','राधे' जो नाम आपको प्रिय लगे उसी को पकड़ लो तो बेडा पार हो जायेगा ।
* राम नाम की महिमा का कोई पार नहीं है | यह अति सुखदाई है, जो आत्मिक और मानसिक सुख प्रदान करता है | हजारो बार वैज्ञानिक यह रामनाम भजकर परख चुके है कि श्री राम का नाम जपने वाला व्यक्ति नकारात्मक उर्जा से दूर होकर सकारात्मक उर्जा से भर जाता है ।
* ध्यान अभ्यास शुरू करने के पहले किसी सच्चे गुरु से दीक्षा लेना अति आवश्यक है। नहीं तो इसमें कई तरह के नुकसान हो सकते हैं?
* श्री राम नाम की महिमा वर्णन भगवान शिवजी माता पार्वती जी से करते हुए कहते हैं कि इस दो अक्षर से बने राम नाम की महिमा भी अपरंपार है। राम नाम का स्मरण करके हम जीवन के कष्टों का निवारण कर सकते हैं।
प्रभु प्रेमियों ! गुरु महाराज के भारती पुस्तक "महर्षि मेंहीं पदावली" के भजन नं. 80 का शब्दार्थ, भावार्थ और टिप्पणी के द्वारा आप ने जाना कि राम नाम कैसे लेना चाहिए? उसका क्या रहस्य है? जिससे सभी मनोकामना पूर्ण होती है। राम नाम कैसे जपना चाहिए? इसकी क्या-क्या महिमा है? इतनी जानकारी के बाद भी अगर आपके मन में किसी प्रकार का शंका या कोई प्रश्न है, तो हमें कमेंट करें। इस लेख के बारे में अपने इष्ट मित्रों को भी बता दें, जिससे वे भी इससे लाभ उठा सकें। सत्संग ध्यान ब्लॉग का सदस्य बने। इससे आपको आने वाले पोस्ट की सूचना नि:शुल्क मिलती रहेगी। इस पद का पाठ किया गया है, उसे सुननेे के लिए निम्नलिखित वीडियो देखें।
महर्षि मेँहीँ पदावली..
अगर आप 'महर्षि मेँहीँ पदावली' पुस्तक के अन्य पद्यों के अर्थों के बारे में जानना चाहते हैं या इस पुस्तक के बारे में विशेष रूप से समझना चाहते हैं तो
सत्संग ध्यान संतवाणी ब्लॉग की अन्य संतवाणीयों के अर्थ सहित उपलब्धता के बारे में अधिक जानकारी के लिए 👉यहाँ दवाएँ.
सद्गुरु महर्षि मेँहीँ परमहंस जी महाराज की पुस्तकें मुफ्त में पाने के लिए शर्तों के बारे में जानने के लिए 👉 यहां दवाए।---×---
प्रभु प्रेमियों ! संतवाणी अर्थ सहित में आज हम लोग जानेंगे- संतमत सत्संग के महान प्रचारक सद्गुरु महर्षि मेंहीं परमहंस जी महाराज के भारती (हिंदी) पुस्तक "महर्षि मेंहीं पदावली" जो हम संतमतानुयाइयों के लिए गुरु-गीता के समान अनमोल कृति है। इस कृति के 80वां पद्य "जय जय रामा जय जय राम कहु राम...' का शब्दार्थ, भावार्थ और टिप्पणी के बारे में। जिसे पूज्यपाद लालदास जी महाराज नेे किया है।
इस Santmat meditations भजन (कविता, पद्य, वाणी, छंद) "सतनाम सतनाम सतनाम भज सतनाम।..." में बताया गया है कि- राम नाम की महिमा रामायण में, दोहावली में गो. तुलसीदासजी ने बहुत ही लिखा है। अतः यह जिज्ञासा होती है कि राम नाम कैसे लेना चाहिए? उसका क्या रहस्य है? जिससे सभी मनोकामना पूर्ण होती है। राम नाम कैसे जपना चाहिए? इसकी क्या क्या महिमा है? इसके साथ ही निम्नलिखित प्रश्नों के भी कुछ-न-कुछ जानकारी दी गई है- राम नाम की महिमा का वर्णन,राम नाम की महिमा सुनाओ,राम नाम का चमत्कार,महिमा राम नाम की भजन,राम नाम रहस्य,राम नाम का महत्व,राम नाम फल,ram naam bhajan.
इस पद्य के पहले वाले पद्य को पढ़ने के लिए
यहां दबाएं।राम नाम के रहस्य को समझाते हुए गुरुदेव |
Ram name mystical significance "जय जय रामा....
सद्गुरु महर्षि मेंहीं परमहंस जी महाराज जी कहते हैं- "हे प्यारे भाइयों ! बारंबार 'जय जय राम !' अथवा 'राम राम !' कहा करो अर्थात बारंबार राम (सर्वव्यापी परमात्मा) का गुणगान किया करो।....." इस विषय में पूरी जानकारी के लिए इस भजन का शब्दार्थ, भावार्थ और टिप्पणी किया गया है। उसे पढ़ें-पदावली भजन 80 और शब्दार्थ। राम नाम का वर्णन |
पदावली भजन 80 का भावार्थ और टिप्पणी। राम नाम रहस्य वर्णन। |
इस भजन के बाद वाले पद्य को पढ़ने के लिए यहां दबाएं।
महत्वपूर्ण नोट-
* भगवान श्री राम का नाम अपने आप में एक नाम भी है और एक मंत्र भी । भगवान श्री राम (Ram Naam ki Mahima) की आराधना करने वाले भक्त के सभी कार्य स्वयं ही सिद्ध हो जाता है।
* प्रभु से जुड़ने के अनेक माध्यम हमारे सद्ग्रंथो, ऋषि मुनियों एवं संतो द्वारा बताये गये है, उनमे से एक है हरि नाम(ram nam) जप और नाम लेखन । राम','कृष्ण','शिव','राधे' जो नाम आपको प्रिय लगे उसी को पकड़ लो तो बेडा पार हो जायेगा ।
* राम नाम की महिमा का कोई पार नहीं है | यह अति सुखदाई है, जो आत्मिक और मानसिक सुख प्रदान करता है | हजारो बार वैज्ञानिक यह रामनाम भजकर परख चुके है कि श्री राम का नाम जपने वाला व्यक्ति नकारात्मक उर्जा से दूर होकर सकारात्मक उर्जा से भर जाता है ।
* ध्यान अभ्यास शुरू करने के पहले किसी सच्चे गुरु से दीक्षा लेना अति आवश्यक है। नहीं तो इसमें कई तरह के नुकसान हो सकते हैं?
* श्री राम नाम की महिमा वर्णन भगवान शिवजी माता पार्वती जी से करते हुए कहते हैं कि इस दो अक्षर से बने राम नाम की महिमा भी अपरंपार है। राम नाम का स्मरण करके हम जीवन के कष्टों का निवारण कर सकते हैं।
प्रभु प्रेमियों ! गुरु महाराज के भारती पुस्तक "महर्षि मेंहीं पदावली" के भजन नं. 80 का शब्दार्थ, भावार्थ और टिप्पणी के द्वारा आप ने जाना कि राम नाम कैसे लेना चाहिए? उसका क्या रहस्य है? जिससे सभी मनोकामना पूर्ण होती है। राम नाम कैसे जपना चाहिए? इसकी क्या-क्या महिमा है? इतनी जानकारी के बाद भी अगर आपके मन में किसी प्रकार का शंका या कोई प्रश्न है, तो हमें कमेंट करें। इस लेख के बारे में अपने इष्ट मित्रों को भी बता दें, जिससे वे भी इससे लाभ उठा सकें। सत्संग ध्यान ब्लॉग का सदस्य बने। इससे आपको आने वाले पोस्ट की सूचना नि:शुल्क मिलती रहेगी। इस पद का पाठ किया गया है, उसे सुननेे के लिए निम्नलिखित वीडियो देखें।
महर्षि मेँहीँ पदावली.. |
अगर आप 'महर्षि मेँहीँ पदावली' पुस्तक के अन्य पद्यों के अर्थों के बारे में जानना चाहते हैं या इस पुस्तक के बारे में विशेष रूप से समझना चाहते हैं तो
सद्गुरु महर्षि मेँहीँ परमहंस जी महाराज की पुस्तकें मुफ्त में पाने के लिए शर्तों के बारे में जानने के लिए 👉 यहां दवाए।
---×---
P80, Ram name mystical significance "जय जय रामा...." महर्षि मेंहीं पदावली अर्थ सहित।
Reviewed by सत्संग ध्यान
on
2/09/2020
Rating:
कोई टिप्पणी नहीं:
एक टिप्पणी भेजें
कृपया सत्संग ध्यान से संबंधित किसी विषय पर जानकारी या अन्य सहायता के लिए टिप्पणी करें।